1. जो भी आए हॆ नज़दीक ही बेठे हॆ तेरे,
हम कहाँ तक तेरे पहलू से सरकते जाएँ..
2. ना सोना, ना चांदी और ना काला धन चाहिए,
जो मेरे दिल में रहता है वही साजन चाहिए..
3. आंख मे आंख डालकर बात तो करके देखता,
इतना भी एतमाद उसे अपनी निगाह पर नही..
1. जो भी आए हॆ नज़दीक ही बेठे हॆ तेरे,
हम कहाँ तक तेरे पहलू से सरकते जाएँ..
2. ना सोना, ना चांदी और ना काला धन चाहिए,
जो मेरे दिल में रहता है वही साजन चाहिए..
3. आंख मे आंख डालकर बात तो करके देखता,
इतना भी एतमाद उसे अपनी निगाह पर नही..