आप भी हैं,हम भी हैं,ऊपर तारे नीचे जमीं हैं।
दिल बेरंग है तो क्या,यारो शाम तो रंगीन है।
दुनिया का क्या ये तो जवां है,
पर है थकी थकी,रवानी कहां है।
गर खुद पर यकीन है,तो दुनिया हसीन है।
कुछ तरस खा ले,जरा चढ़ा ले,
हसीना ना सही, जाम तो हसीन है।
आप भी हैं,हम भी हैं,ऊपर तारे नीचे जमीं हैं।
दिल बेरंग है तो क्या,यारो शाम तो रंगीन है।
दुनिया का क्या ये तो जवां है,
पर है थकी थकी,रवानी कहां है।
गर खुद पर यकीन है,तो दुनिया हसीन है।
कुछ तरस खा ले,जरा चढ़ा ले,
हसीना ना सही, जाम तो हसीन है।